देहरादून।उत्तराखंड में उड़ान योजना के तहत अब पिथौरागढ़ के लिए 72 सीटर हवाई जहाज के संचालन की तैयारी है। इस क्रम में शासन ने एयरपोर्ट अथारिटी आफ इंडिया (एएआइ) से सर्वे कराने का निर्णय लिया है। इसके लिए 22 लाख रुपये की व्यवस्था की गई है। एएआइ से हरी झंडी मिलने के बाद यहां हवाई सेवा शुरू करने के लिए विभिन्न कंपनियों से संपर्क साधा जाएगा।

हवाई सेवा को शुरू करने के लिए केंद्र सरकार का दरवाजा खटखटाया

प्रदेश सरकार ने वर्ष 2018 में उड़ान योजना के तहत देहरादून-पिथौरागढ़ हवाई मार्ग पर हवाई सेवा शुरू की थी। पहले यहां केवल नौ सीटर हवाई जहाज को संचालित करने की अनुमति थी। इस आधार पर सरकार ने नौ सीटर हवाई जहाज का संचालन शुरू किया। यह सेवा देहरादून से पंतनगर और पिथौरागढ़ के बीच संचालित की गई। यह काफी सफल भी रही।

कुछ समय तक सुचारू सेवा देने के बाद हवाई जहाज में तकनीकी खराबी के कारण यह सेवा पहले तो बाधित हुई और फिर मार्च 2020 में इसे बंद कर दिया गया। कारण यह कि नौ सीटर विमान बेहद सीमित संख्या में हैं। कंपनी को इस मार्ग के लिए वैकल्पिक विमान नहीं मिल पाया।

इस बीच कोरोना संक्रमण के कारण लागू लाकडाउन की अवधि में इस ओर ध्यान ही नहीं दिया गया। लाकडाउन समाप्त होने पर प्रदेश सरकार ने इस हवाई सेवा को शुरू करने के लिए केंद्र सरकार का दरवाजा खटखटाया। पिछले वर्ष सरकार में नेतृत्व परिवर्तन के बाद सत्ता संभालने वाले मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत और फिर पुष्कर सिंह धामी ने भी यह मसला केंद्र के समक्ष उठाया। बताया गया कि देश में नौ सीटर विमान बेहद कम हैं। ऐसे में कंपनियां इसमें बहुत अधिक रुचि नहीं दिखा रही हैं।

ऐसे में यह निर्णय हुआ कि यहां बड़े हवाई जहाज के संचालन पर विचार किया जा सकता है। इस पर यहां 23 सीटर विमान उतारने की संभावनाओं पर चर्चा हुई। उसमें भी यही बात सामने आई कि ये हवाई जहाज भी सीमित संख्या में हैं। इनकी उपलब्धता में भी कठिनाई आ रही है। ऐसे में यहां अब 72 सीटर विमान उतारने पर विचार किया जा रहा है।

प्रदेश सरकार ने केंद्र को बताया है कि पंतनगर एयरपोर्ट की हवाई पट्टी पिथौरागढ़ की हवाई पट्टी से छोटी है। बावजूद इसके यहां 72 सीटर विमान उतर रहे हैं। ऐसे में पिथौरागढ़ में भी 72 सीटर विमान उतारा जा सकता है। हवाई पट्टी के निकट एक भवन है, जिसे स्थानांतरित करने के लिए वार्ता चल रही है।

सचिव नागरिक उड्डयन दिलीप जावलकर ने बताया कि पिथौरागढ़ में अब 72 सीटर विमान उतारने की संभावनाओं पर काम किया जा रहा है। यहां सर्वे के लिए 22 लाख रुपये स्वीकृत किए गए हैं। जल्द ही एएआइ इसका सर्वे करेगा।